भागवत गीता सभी वेदों का सार है : संत बालक दास
रतसर (बलिया) भागवत गीता सभी वेदों का सार है। इसके श्रवण मात्र से लोगों के पाप धुल जाते है। इस सांसारिक जीवन में केवल सत्य ही अटल है। सत्य को कोई मिटा नहीं सकता। भगवत गीता हमें यह सीख देती है कि सत्य के मार्ग पर चलकर अपना जीवन चलाना चाहिए। शनिवार को गड़वार विकास खण्ड के कोड़रा,बसदेवा गांव स्थित सत्संग भवन में चल रहे श्रीमद्भागवत गीता ज्ञान यज्ञ में संत बालक दास ने कही। उन्होंन बताया कि कोई भी शुभ कार्य तभी फलित होता है जब उसमें सच्ची निस्वार्थ भावना हो। अगर हम शुभ कार्य कर रहे हैं और हमारी भावनाएं सही नहीं है, तो ऐसे सत्कर्म का कोई महत्व नहीं रह जाता। जीवन में आने वाले उतार-चढ़ाव को समान भाव से ले। उन्होंने श्री रामचरित मानस के प्रसंग का उदाहरण देते हुए कहा कि यदि हमारे कर्म सही हैं तो हमें भगवान का आशीर्वाद मिलता है। जटायु जैसा पक्षी अलग कुल में जन्म लेने के बाद भी भगवान को प्रिय हुआ, क्योंकि उन्होंने सत्कर्म किया। इसलिए हमारे जीवन में हमें सच्चाई के रास्ते पर चलते हुए सत्कर्म करना चाहिए। बालक दास ने विभिन्न प्रसंगों के माध्यम से जीवन के गुढ़ रहस्यों को सरलता से बताया। श्री मद्भागवत कथा का आयोजन ग्राम वासियों एवं प्रबुद्धजनों के सहयोग से किया जा रहा है। कथा सुनने के लिए कोड़रा गांव के अलावा आसपास के गांवों के लोग भी काफी संख्या में पहुंच रहे है। कथा प्रतिदिन 11 बजे से 1 बजे व दोपहर तीन से शाम 6 बजे तक आयोजित की जा रही है।
रिपोर्ट : धनेश पाण्डेय
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